बोरकुंड में 3 बच्चे जिंदा जले।

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BN बांसवाड़ा न्यूज़ सईद मिर्ज़ा हिंदुस्तानी- बड़वानी। जिले के सबसे दूरस्थ व पहाड़ी अंचल के ग्राम पाटी क्षेत्र में सोमवार को एक बड़ा हादसा हो गया। यहां बोरकुंड गांव में पहाड़ी क्षेत्र में मौजूद एक कच्चा मकान आग से पूरी तरह खाक हो गया। घर में मौजूद तीन बच्चे माता-पिता की आंखों के सामने जिंदा जल गए। आग में चार बकरी, बैल भी जिंदा जल गए। घटना के बाद क्षेत्र में सनसनी फैल गई। मौके पर जिपं अध्यक्ष, कलेक्टर, एसपी, एसडीएम, एसडीओपी सहित प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचाा। जानकारी के अनुसार बोरकुंड के कातर फलिया में राजाराम पुत्र डोगरसिंग नरेला के पहाड़ी पर बने कच्चे मकान में सोमवार दोपहर में अचानक आग लग गई। सुबह करीब 10 बजे राजाराम और उसकी पत्नी खाना खाकर घर के समीप ही खेत में कुआं खोदने गए थे।इस दौरान घर में उनके तीन बच्चे 10 वर्षीय मुकेश, 8 वर्षीय राकेश और 6 वर्षीय आकेश मौजूद थे। साथ ही 4 बकरियां व 1 बैल बंधा था। इसी दौरान मकान में आग लगी। आग की सूचना पर तत्काल जिला पंचायत अध्यक्ष बलवंत पटेल, एसडीएम घनश्याम धनगर, एसडीओपी रुपरेखा यादव, पाटी पुलिस व तहसीलदार पहुंचे। इसके बाद दोपहर कलेक्टर डा. राहुल फटिंग, एसपी पुनीत गहलोद भी अमले के साथ पहुंचे। जानकारी के अनुसार बांस-बल्ली से निर्मित मकान पहाड़ी पर होकर एक ओर ईंट की कच्ची दीवार व तीन तरफ काठियां की आड़ थी। एसडीएम ने बताया कि मौका पंचनामा में जो जानकारी स्वजनों ने बताई हैं उसके अनुसार मकान में राजाराम और उसकी पत्नी गुड़ीबाई अपने बच्‍चों के साथ रहते थे।सुबह खाना बनाने के बाद चूल्हे में आग जल गई थी। उसके पास ही सुखा सुकला यानि चारा रखा था। चूल्हे की आग से सुकला सुलगा और देखते ही देखते पूरा घर आग की लपटों से घिर गया। राजाराम ने बताया कि बच्चों की पुकार और धुआं उठता देख कुएं से बाहर आए तो उनका घर जलता दिखा। उन्होंने बच्चों को बचाने का प्रयास किया, लेकिन आग की लपटें काफी तेज थी। शासन ने आर्थिक सहायता स्वीकृत की है। घटना पर प्रदेश के केबिनेट मंत्री प्रेमसिंह पटेल ने शोक संवेदना व्यक्त करते हुए त्वरित कार्रवाई और आर्थिक सहायता देने के निर्देश दिए। वहीं जिपं अध्यक्ष बलवंत पटेल, कलेक्टर डॉ. राहुल फटिंग, एसपी पुनीत गहलोत, एसडीएम घनश्याम धनगर ने घटना स्थल पर पहुंचकर मौका निरीक्षण किया। कलेक्टर ने तत्कालिक सहायता के रूप में प्रभावितों को 30 हजार रुपये की राशि का चेक रेडक्रास सोसायटी के माध्यम से दिया। साथ ही 3 बच्चों की मौत होने पर आरबीसी की धारा के तहत 12 लाख रुपये की आर्थिक सहायता तथा घर में रखी हुई वस्तुएं आग से नष्ट होने पर 1 लाख 91 हजार रुपये की राहत राशि स्वीकृत की है।

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